Kamika Ekadashi Vrat 2025:- कामिका एकादशी
भगवान शिव को समर्पित सावन माह को बेहद पवित्र माना जाता है, जिस दौरान पूजा-पाठ और व्रत रखने से शुभ फल की प्राप्ति होती है। हर साल सावन माह में दो एकादशी तिथि आती हैं, जिनकी अपनी खासियत है। सावन माह की कृष्ण पक्ष की एकादशी को कामिका एकादशी का व्रत रखा जाता है, जिस दिन जगत के पालनहार भगवान विष्णु, धन की देवी मां लक्ष्मी सहित भगवान शिव और मां पार्वती की पूजा की जाती है।
धार्मिक मान्यता के अनुसार, कामिका एकादशी के दिन उपवास रखने से व्रती के साथ-साथ उनके पूर्वज और पितरों को भी लाभ होता है। इस पावन दिन मंदिर में दीपक जलाना भी शुभ होता है, जिससे व्रती को पापों से मुक्ति मिलती है और सूर्य लोक में स्थान प्राप्त होता है। साथ ही उनके पितरों को स्वर्गलोक में अमृतपान कराया जाता है। चलिए जानते हैं साल 2025 में किस दिन कामिका एकादशी की पूजा की जाएगी। साथ ही आपको व्रत के पारण के शुभ मुहूर्त के बारे में पता चलेगा।
Kamika Ekadashi Vrat 2025:- कामिका एकादशी शुभ मुहूर्त
वैदिक पंचांग के अनुसार, सावन माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि 20 जुलाई को दोपहर 12 बजकर 12 मिनट पर शुरू होगी। वहीं, 21 जुलाई को सुबह 09 बजकर 38 मिनट पर एकादशी तिथि समाप्त होगी। इस प्रकार 21 जुलाई को कामिका एकादशी मनाई जाएगी। वहीं, 22 जुलाई के दिन पारण किया जाएगा।
Kamika Ekadashi Vrat 2025:- कामिका एकादशी पर हमें क्या करना चाहिए?
कामिका एकादशी पर भक्त कठोर व्रत नियमों का पालन करते हैं और भगवान विष्णु को प्रसन्न करने के लिए आध्यात्मिक अभ्यास करते हैं। इस दिन क्या किया जाना चाहिए, यह निम्नलिखित है:
व्रत पालन
भक्त सूर्योदय से लेकर अगले दिन सुबह तक व्रत रखते हैं, जिसमें वे भोजन और जल से परहेज करते हैं। कुछ भक्त दिन में केवल एक ही भोजन करते हैं।
भगवान विष्णु के नाम का जाप
भगवान विष्णु के प्रति भक्ति और आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए “ॐ नमो भगवते वासुदेवाय” का जाप करना प्रचलित है।
पूजा और अनुष्ठान
भगवान विष्णु के लिए विस्तृत पूजा करना, फूल, फल और अन्य पवित्र सामग्री अर्पित करना इस दिन का अभिन्न हिस्सा है।
धार्मिक ग्रंथों का पठन
भक्त अक्सर भगवद गीता, विष्णु सहस्रनाम या अन्य विष्णु संबंधी धार्मिक ग्रंथों का पठन करते हैं, ताकि वे अपनी आध्यात्मिक कनेक्शन को मजबूत कर सकें।
Kamika Ekadashi Vrat 2025:- कामिका एकादशी का महत्व
कामिका एकादशी व्रत करने से मनुष्य को न यमराज के दर्शन होते हैं और न ही नरक के कष्ट भोगने पड़ते हैं। उसके सभी पाप मिट जाते हैं। इस व्रत के अलावा पापों का नाश करने की क्षमता किसी और व्रत में नहीं है। इस दिन माँ तुलसी के दर्शन मात्र से मनुष्य के सभी पाप नष्ट हो जाते हैं और तुलसी को स्पर्श मात्र करने से मनुष्य पवित्र हो जाता है। तुलसी के पत्ता को जल में डालकर स्नान करने से यमराज से मिलने वाली सभी यातनाएं नष्ट हो जाती हैं और तुलसीजी को भगवान के चरणों में अर्पित करने से मोक्ष की प्राप्ति होती है। एकादशी के दिन जो मनुष्य भगवान के सामने दीपक जलाते हैं, उनके पितर स्वर्गलोक में अमृत का पान करते हैं। कामिका एकादशी की रात जो जागता है और दीप-दान करता है, उसके पुण्य कर्मों का खाता बढ़ जाता है।
Kamika Ekadashi Vrat 2025:- कामिका एकादशी पर तुलसी के टोटके
- कामिका एकादशी पर सुबह भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना करें और इसके बाद तुलसी के पौधे पर लाल चुनरी अर्पित करे। अंत में जीवन में सुख-शांति की कामना करें। इस टोटके को करने से मां लक्ष्मी प्रसन्न होती हैं, जिससे आर्थिक समस्याएं जल्द दूर होती हैं और दांपत्य जीवन में प्रेम बना रहता है।
- अगर आप धन में वृद्धि चाहते हैं, तो कामिका एकादशी पर किया गया उपाय बेहद फलदायी साबित होता है। इस दिन तुलसी की मंजरी को लाल कपड़े में बांधकर अलमारी में रख दें। माना जाता है कि इस उपाय को करने से साधक को जीवन में कभी भी धन की कमी नहीं होती है।
- कामिका एकादशी पर भगवान विष्णु की कृपा प्राप्ति के लिए तुलसी के पास देशी घी का दीपक जलाएं और सच्चे मन से 11 परिक्रमा लगाएं। इससे साधक को मोक्ष की प्राप्ति होती है और श्री हरि प्रसन्न होते हैं।
- कामिका एकादशी पर पूजा के दौरान तुलसी के पौधे पर कलावा अवश्य बांधे। इससे साधक को सकारात्मक परिणाम देखने को मिल सकते हैं। साथ ही तुलसी के पौधे के पास दीपक जलाएं। इससे माता लक्ष्मी की कृपा प्राप्त होती है।